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दिनांक 15 जनवरी 2018,
(शिवानंद द्विवेदी रीवा मप्र) ज़िले के सिरमौर वन परिक्षेत्र अंतर्गत आने वाले लालगांव उप वन परिक्षेत्र में वन अपराध अपने चरम पर हैं।
हाल ही में पिछले दिनों सरई रुझौही वन क्षेत्र में अवैध उत्खनन होता पाया गया था जिसकी सूचना संबंधित डिप्टी रेंजर, रेंजर एवं डी एफ ओ रीवा विपिन पटेल सहित सभी जिम्मेदार अधिकारियों को दी गई थी। जिस पर संज्ञान लेकर वन विभाग का दस्ता घटनास्थल पर पहुचा था और 10 ट्रेक्टर ट्राली के लगभग गिट्टी बीच वन क्षेत्र से जब्त किया था। मौके पर पंचनामा बनाकर गिट्टी की जब्ती डिप्टी रेंजर द्वारा बनाई गई थी।
इसके पूर्व पनगड़ी से सटे जंगल भलघटी के पहाड़ से सैकड़ों गोवंशों को आपराधिक तत्वों द्वारा हज़ारो फ़ीट नीचे जीवित धकेल दिया गया था जिसमे पचासों मृत पाए गए थे और आधा दर्जन के करीब गायों को जीवित घाटी के नीचे से निकाला गया था। पूरा मामला वन विभाग सहित पुलिश, राजस्व, पशु चिकित्सा विभाग के संज्ञान में लाया गया था साथ ही देशभर की मीडिया में छाया रहा जिसमे केंद्रीय जांच दल भी आया था।
इन सबके वाबजूद भी सबसे जिम्मेदार विभाग वन विभाग की नींद खुलने का नाम नही ले रही।
वन विभाग की परिसीमा के अंदर निरंतर हो रहे वन अपराध जिसमे जंगली जानवरों का अवैध शिकार, वनों की अंधाधुंध कटाई एवं अवैध परिवहन और उत्खनन हो रहा है लेकिन वह विभाग इन अपराधों को रोकने में पूरी तरह से नाकाम रहा है।
दिनांक 15 जनवरी 2018 को कांकर देउर वन चौकी में जाकर देखा गया तो पाया गया कि हमेशा की तरह चौकी में दिन के 12 बजे भी ताला लटक रहा है। आसपास बस्ती के ग्रामीणों से पूंछने पर बताया गया कि कांकर वन चौकी कभी भी कार्यालयीन समय मे नही खुलती है।
डिप्टी रेंजर, मुंसी और साथ मे अन्य चौकीदार सभी अनुपस्थित रहते हैं।
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संलग्न - संलग्न फ़ोटो में देखें पिछले दिनों सरई रुझौही वन क्षेत्र में अवैध उत्खनन परिवहन और साथ ही दिनांक 15 जनवरी दिन सोमवार को ताला लटकता हुआ वन चौकी कांकर का दृश्य।
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- शिवानंद द्विवेदी सामाजिक मानवाधिकार कार्यकर्ता, रीवा मप्र। मोब 7869992139
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