Saturday, August 9, 2025

सीईओ जिला पंचायत धारा 89, 40 और 92 की कार्यवाही पर दें विशेष ध्यान -एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी

Breaking// सीईओ जिला पंचायत धारा 89, 40 और 92 की कार्यवाही पर दें विशेष ध्यान -एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी// जिला पंचायत रीवा और मऊगंज में पंचायतों में व्याप्त व्यापक भ्रष्टाचार को लेकर शिवानंद द्विवेदी ने जिला पंचायत की कार्यप्रणाली को ठहराया जिम्मेदार// जिला पंचाउत सीईओ नहीं कर रहे सुनवाई, धारा 40 92 के आदेश वर्षों से नहीं हुए पारित// वर्तमान में पिछले 7 माह से मेहताब सिंह गुर्जर हैं सीईओ जिला पंचायत रीवा// जिला पंचायत सदस्य लालमणि त्रिपाठी और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने खाली जिला सीईओ के पद के लिए किया था आंदोलन//


दिनांक 10 अगस्त 2025 रीवा मप्र।


  एक बार फिर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी मेहताब सिंह गुर्जर की कार्यप्रणाली को लेकर सवाल खड़े हो गए हैं। एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी ने कहा की जिला पंचायत में पंचायत राज अधिनियम की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं। उन्होंने आरोप लगाए की मध्य प्रदेश पंचायत राज एवं ग्राम स्वराज अधिनियम 1993-94 की धारा 89, 40 एवं 92 की कार्यवाही ठप्प जैसी पड़ी हुई है जिसके लिए पूरी तरह मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत रीवा जिम्मेदार है। उन्होंने कहा की मात्र दिखावे के तौर पर कुछ पंचायत की सुनवाईयां की जा रही हैं और साथ में कोई निर्णय भी पारित नहीं किया जा रहे हैं लेकिन ऐसी सैकड़ो पंचायतें हैं जिन पर व्यापक स्तर का भ्रष्टाचार व्याप्त है लेकिन कोई कार्यवाही न किए जाने से भ्रष्टाचारियों के हौसले बुलंद हैं। आपको बता दें कि पंचायत राज अधिनियम में धारा 89 की सुनवाई की शक्ति पहले अनुविभागीय एवं दंडाधिकारी को थी जिसके बाद ट्रांसफर कर सुनवाई किए जाने की शक्ति संबंधित जिला कलेक्टरों को दे दी गई थी। परंतु वर्तमान व्यवस्था में अब इस अर्धन्यायिक व्यवस्था की जिम्मेदारी मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत को होती है। जब से मध्य प्रदेश में सुनवाई की यह शक्ति मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायतों के पास आई है तब से न केवल रीवा जिले में बल्कि पूरे मध्य प्रदेश में ही यही हाल है। जानकारों का मानना है की क्योंकि मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत स्वयं भी पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग से ही संबंधित वरिष्ठ अधिकारी होते हैं इसलिए वह भ्रष्ट सरपंच सचिव इंजीनियर और अपने कर्मचारियों को बचाने का प्रयास करते हैं जिसके कारण इस अर्धन्यायिक व्यवस्था में सवाल खड़े हो गए हैं। 


  देखिए पूरे मामले को लेकर के सामाजिक कार्यकर्ता शिवानंद द्विवेदी ने क्या कुछ कहा है।


*स्पेशल ब्यूरो रिपोर्ट रीवा मध्य प्रदेश*

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